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जाएँ

= जाँय

जाएँ माएँ

۔(ھ) مونث۔ بچّوں کا ایک کھیل جس میں چکیپھیری پھرتے جاتے ہیں اور ’’جھائیں مائیں کوّوں کی برات آئی‘‘ کہتے جاتے ہیں۔

जड़ काटे जाएँ , पानी देने जाएँ

नुक़्सान पहहंचाने जाएं और दिखाने को हमदर्दी करें

साहू बहे न जाएँ , गों से जाएँ

साहूकार जो कुछ करता है किसी ख़ास मतलब लिए करता है अगर दरिया में बपा जाये तो इस में भी इसका कोई मतलब होगा

आँखें फूट जाएँ

कोसने के तौर पर

पड़ जाएँ पत्थर

रुक : पड़ जाये पटकी

कीड़े पड़ जाएँ

(बददुआ) गले, सड़े बर्बाद हो, नाकारा हो जाये

आएँ तो कहाँ जाएँ

غصہ کی شدت ظاہر کرنے کے لئے کہتے ہیں

मर जाएँ तो मक्खी और निकल जाएँ तो शेर

अगर कोई क़ैदी जेल में मर जाये तो एक मक्खी के मर जाने से ज़्यादा एहमीयत नहीं दी जाएगी लेकिन अगर कोई क़ैदी भाग निकलने में कामयाब हुआ तो उसे एक शेर के कटहरे से निकल जाने के बराबर अहम वाक़िया समझा जाएगा

आएँ तो जाएँ कहाँ

अत्यधिक क्रोध में भर गया, ऐसा उलझा कि जान छुड़ाने में कठिनाई हो गई

ये पूत बनजे जाएँ

यह संतान विवाह के योग्य हो जाए

मरने जाएँ मलारें गाएँ

۔مثل۔آزاد طبع اور بے پروا کی نسبت بولتے ہیں کہ مرنے کو بھی ہنسی کھیل سمجھ کر بے فکر ہیں اور گیت گارہے ہیں۔شیخی خورے کی نسبت بھی بولتے ہیں۔

मुर्दा शू ले जाएँ

मौत आए, दुनिया से जाता रहे (कोसने के तौर पर मुस्तामल)

मरे जाएँ मलहारें गाएँ

पेट से फ़ाक़ा मगर कोई पर्वा नहीं

मरे जाएँ मलहार गाएँ

पेट से फ़ाक़ा मगर कोई पर्वा नहीं

आँखें पटम हो जाएँ

(कोसना) अंधा हो जाए, दीदे या आँखें फूट जाएँ

मरते जाएँ मलहारें गाएँ

मुश्किलों में भी ज़िंदगी से लुतफ़ लें

मरने जाएँ , मलारें गाएँ

ऐसे बेफ़िकर आदमी हैं कि मरने को भी खेल समझ कर गीत गाते हैं, बेपर्वा और आज़ाद तबा नीज़ शेखी ख़ोरे की निसबत बोलते हैं

दिन भले ही न हो जाएँ या फिर भी न जाएँ

अगर काम हो जाये तो नसीबा ही ना जाग जाये

उल्टी ली जाएँ न सीधी

किसी तरह क़ाबू में ना आएं, हरगिज़ ना मानें

ज़बान में कीड़े पड़ जाएँ

(श्राप) ज़बान गल सड़ जाये

उल्टे लिये जाएँ न सीधे

किसी तरह वश में न आएँ, बिल्कुल न मानें

जहाँ सींग समाएँ निकल जाएँ

foot-loose and fancy-free

करे एक पकड़े जाएँ सब

एक व्यक्ति की बुराई से पूरी जाति या समुदाय पर आरोप लगाया जाता है, थोड़े से दुष्कर्म और सभी के लिए मुसीबत

हल्के पिछोड़े उड़ उड़ जाएँ

जिस का पुछा या मज़बूत ना हो वो नुक़्सान उठाता है, अगर काम दरुस्त तौर पर ना किया जाये तो नुक़्सान होता है

पर लग जाएँ और उड़ कर पहुँचूँ

कहीं जाने की बहुत ज़्यादा ख़ाहिश हो तो कहते हैं

जहाँ जाएँ बाले मियाँ तहाँ जाए पूँछ

धनवानों की चापलूसी करने वाले हर जगह साथ जाते हैं

आग लेने को जाएँ पयम्बरी मिल जाए

ऐसे समय पर बोलते हैं जब किसी व्यक्ति को आशा के विपरीत कोई चीज़ प्राप्त हो जाये

बादशाह मारी पोदनी हम बैर बसावन जाएँ

मुक़ाबले के मौक़ा पर डरपोक का साथ दे कर अपने आप को क्यों मुसीबत में डाला जाये

जहाँ जिस के सींग समाए वहीं घुस जाएँ

जहां बचाओ देखें वहां पनाह लें

हाथी आएँ घोड़े जाएँ ऊँट बेचारे ग़ोते खाएँ

दुशवार गुज़ार या तंग जगह जहां से गुज़रना बहुत मुश्किल हो, वो मुक़ाम जहां सब बेबस हो जाते हैं

हाथी आएँ घोड़े जाएँ ऊँट बिचारे ग़ोते खाएँ

दुशवार गुज़ार या तंग जगह जहां से गुज़रना बहुत मुश्किल हो, वो मुक़ाम जहां सब बेबस हो जाते हैं

खाएँ तो घी से नहीं जाएँ जी से

أمثل۔ ہو تو اچھا ہو نہیں تو بھوٗکا مرنا منظور ہے۔

पर लग जाएँ और उड़ कर पहुँच जाऊँ

कहीं जाने की बहुत ज़्यादा ख़ाहिश हो तो कहते हैं

बड़े बड़े बहे जाएँ, गडड़िया पूछे कित्ती थाह

जहाँ बड़े बड़े लोगों की भी किसी को परवाह नहीं वहाँ साधारण व्यक्ति को कौन पूछेगा

मुद्द'ई मुद्द'आ 'अलैह नाव में, शाहिद तैरते जाएँ

अपने पक्षधर की क़दर न करने के अवसर पर बोलते हैं

हाथ पाँव की काहिली और मुँह में मूँछें जाएँ

इतना काहिल है कि मुँह पर से मूंछें भी नहीं हटाता, बहुत काहिल है

ऐसे ऊत रिवाड़ी जाएँ आटा बेच के गाजर खाएँ

ऐसे मूर्ख के संबंध में प्रयुक्त जो अपनी सारी पूँजी खाने में ख़र्च कर दे या अच्छी वस्तु देकर ख़राब वस्तु ले

खाएँ तो घी से नहीं तो जाएँ जी से

ज़िद्दी और हटीले आदमी के मुताल्लिक़ कहते हैं, हो तो अच्छा हो नहीं तो भूका मरना मंज़ूर

गंगा नहाए फल होए तो मेंडक मछलियाँ तिर जाएँ

अगर गंगा में नहाने से नजात हो तो मीनडख़ और मछलीयों की होनी चाहिए जो इसी में रहते हैं, महिज़ रस्मों से कुछ नहीं होता जब तक आमाल दरुस्त ना हूँ

सद्र जहाँ कि बद्र जहाँ , छोड़ पहानी जाएँ कहाँ

वतन ही में रहना और मुसीबत झेलना

घर में जो शहद मिले तो काहे बन को जाएँ

अगर बगै़र मेहनत मशक्कत के रोज़ी मिले तो दौड़ धूप की ज़रूरत क्यों पड़े

घर के रोवें बाहर के खाएँ, दु'आ देते क़लंदर जाएँ

घर वालों से बुरा व्यवहार और बाहर वालों से अच्छा व्यवहार

हिन्दी, इंग्लिश और उर्दू में जाएँ के अर्थदेखिए

जाएँ

jaa.e.nجائیں

वज़्न : 22

जाएँ के हिंदी अर्थ

क्रिया-विशेषण

  • = जाँय

शे'र

English meaning of jaa.e.n

Adverb

  • go, be, pass

Urdu meaning of jaa.e.n

  • Roman
  • Urdu

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जाएँ

= जाँय

जाएँ माएँ

۔(ھ) مونث۔ بچّوں کا ایک کھیل جس میں چکیپھیری پھرتے جاتے ہیں اور ’’جھائیں مائیں کوّوں کی برات آئی‘‘ کہتے جاتے ہیں۔

जड़ काटे जाएँ , पानी देने जाएँ

नुक़्सान पहहंचाने जाएं और दिखाने को हमदर्दी करें

साहू बहे न जाएँ , गों से जाएँ

साहूकार जो कुछ करता है किसी ख़ास मतलब लिए करता है अगर दरिया में बपा जाये तो इस में भी इसका कोई मतलब होगा

आँखें फूट जाएँ

कोसने के तौर पर

पड़ जाएँ पत्थर

रुक : पड़ जाये पटकी

कीड़े पड़ जाएँ

(बददुआ) गले, सड़े बर्बाद हो, नाकारा हो जाये

आएँ तो कहाँ जाएँ

غصہ کی شدت ظاہر کرنے کے لئے کہتے ہیں

मर जाएँ तो मक्खी और निकल जाएँ तो शेर

अगर कोई क़ैदी जेल में मर जाये तो एक मक्खी के मर जाने से ज़्यादा एहमीयत नहीं दी जाएगी लेकिन अगर कोई क़ैदी भाग निकलने में कामयाब हुआ तो उसे एक शेर के कटहरे से निकल जाने के बराबर अहम वाक़िया समझा जाएगा

आएँ तो जाएँ कहाँ

अत्यधिक क्रोध में भर गया, ऐसा उलझा कि जान छुड़ाने में कठिनाई हो गई

ये पूत बनजे जाएँ

यह संतान विवाह के योग्य हो जाए

मरने जाएँ मलारें गाएँ

۔مثل۔آزاد طبع اور بے پروا کی نسبت بولتے ہیں کہ مرنے کو بھی ہنسی کھیل سمجھ کر بے فکر ہیں اور گیت گارہے ہیں۔شیخی خورے کی نسبت بھی بولتے ہیں۔

मुर्दा शू ले जाएँ

मौत आए, दुनिया से जाता रहे (कोसने के तौर पर मुस्तामल)

मरे जाएँ मलहारें गाएँ

पेट से फ़ाक़ा मगर कोई पर्वा नहीं

मरे जाएँ मलहार गाएँ

पेट से फ़ाक़ा मगर कोई पर्वा नहीं

आँखें पटम हो जाएँ

(कोसना) अंधा हो जाए, दीदे या आँखें फूट जाएँ

मरते जाएँ मलहारें गाएँ

मुश्किलों में भी ज़िंदगी से लुतफ़ लें

मरने जाएँ , मलारें गाएँ

ऐसे बेफ़िकर आदमी हैं कि मरने को भी खेल समझ कर गीत गाते हैं, बेपर्वा और आज़ाद तबा नीज़ शेखी ख़ोरे की निसबत बोलते हैं

दिन भले ही न हो जाएँ या फिर भी न जाएँ

अगर काम हो जाये तो नसीबा ही ना जाग जाये

उल्टी ली जाएँ न सीधी

किसी तरह क़ाबू में ना आएं, हरगिज़ ना मानें

ज़बान में कीड़े पड़ जाएँ

(श्राप) ज़बान गल सड़ जाये

उल्टे लिये जाएँ न सीधे

किसी तरह वश में न आएँ, बिल्कुल न मानें

जहाँ सींग समाएँ निकल जाएँ

foot-loose and fancy-free

करे एक पकड़े जाएँ सब

एक व्यक्ति की बुराई से पूरी जाति या समुदाय पर आरोप लगाया जाता है, थोड़े से दुष्कर्म और सभी के लिए मुसीबत

हल्के पिछोड़े उड़ उड़ जाएँ

जिस का पुछा या मज़बूत ना हो वो नुक़्सान उठाता है, अगर काम दरुस्त तौर पर ना किया जाये तो नुक़्सान होता है

पर लग जाएँ और उड़ कर पहुँचूँ

कहीं जाने की बहुत ज़्यादा ख़ाहिश हो तो कहते हैं

जहाँ जाएँ बाले मियाँ तहाँ जाए पूँछ

धनवानों की चापलूसी करने वाले हर जगह साथ जाते हैं

आग लेने को जाएँ पयम्बरी मिल जाए

ऐसे समय पर बोलते हैं जब किसी व्यक्ति को आशा के विपरीत कोई चीज़ प्राप्त हो जाये

बादशाह मारी पोदनी हम बैर बसावन जाएँ

मुक़ाबले के मौक़ा पर डरपोक का साथ दे कर अपने आप को क्यों मुसीबत में डाला जाये

जहाँ जिस के सींग समाए वहीं घुस जाएँ

जहां बचाओ देखें वहां पनाह लें

हाथी आएँ घोड़े जाएँ ऊँट बेचारे ग़ोते खाएँ

दुशवार गुज़ार या तंग जगह जहां से गुज़रना बहुत मुश्किल हो, वो मुक़ाम जहां सब बेबस हो जाते हैं

हाथी आएँ घोड़े जाएँ ऊँट बिचारे ग़ोते खाएँ

दुशवार गुज़ार या तंग जगह जहां से गुज़रना बहुत मुश्किल हो, वो मुक़ाम जहां सब बेबस हो जाते हैं

खाएँ तो घी से नहीं जाएँ जी से

أمثل۔ ہو تو اچھا ہو نہیں تو بھوٗکا مرنا منظور ہے۔

पर लग जाएँ और उड़ कर पहुँच जाऊँ

कहीं जाने की बहुत ज़्यादा ख़ाहिश हो तो कहते हैं

बड़े बड़े बहे जाएँ, गडड़िया पूछे कित्ती थाह

जहाँ बड़े बड़े लोगों की भी किसी को परवाह नहीं वहाँ साधारण व्यक्ति को कौन पूछेगा

मुद्द'ई मुद्द'आ 'अलैह नाव में, शाहिद तैरते जाएँ

अपने पक्षधर की क़दर न करने के अवसर पर बोलते हैं

हाथ पाँव की काहिली और मुँह में मूँछें जाएँ

इतना काहिल है कि मुँह पर से मूंछें भी नहीं हटाता, बहुत काहिल है

ऐसे ऊत रिवाड़ी जाएँ आटा बेच के गाजर खाएँ

ऐसे मूर्ख के संबंध में प्रयुक्त जो अपनी सारी पूँजी खाने में ख़र्च कर दे या अच्छी वस्तु देकर ख़राब वस्तु ले

खाएँ तो घी से नहीं तो जाएँ जी से

ज़िद्दी और हटीले आदमी के मुताल्लिक़ कहते हैं, हो तो अच्छा हो नहीं तो भूका मरना मंज़ूर

गंगा नहाए फल होए तो मेंडक मछलियाँ तिर जाएँ

अगर गंगा में नहाने से नजात हो तो मीनडख़ और मछलीयों की होनी चाहिए जो इसी में रहते हैं, महिज़ रस्मों से कुछ नहीं होता जब तक आमाल दरुस्त ना हूँ

सद्र जहाँ कि बद्र जहाँ , छोड़ पहानी जाएँ कहाँ

वतन ही में रहना और मुसीबत झेलना

घर में जो शहद मिले तो काहे बन को जाएँ

अगर बगै़र मेहनत मशक्कत के रोज़ी मिले तो दौड़ धूप की ज़रूरत क्यों पड़े

घर के रोवें बाहर के खाएँ, दु'आ देते क़लंदर जाएँ

घर वालों से बुरा व्यवहार और बाहर वालों से अच्छा व्यवहार

संदर्भग्रंथ सूची: रेख़्ता डिक्शनरी में उपयोग किये गये स्रोतों की सूची देखें .

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