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रसूल
संदेशवाहक, पत्र ले जाने वाला, एलची, राजदूत
रसूलुल्लाह
ईशदूत, ईश्वर की ओर से सर्वसाधारण के सुधार के लिए भेजा हुआ व्यक्ति, अल्लाह का रसूल, मुराद : हज़रत मुहम्मद साहब
रसूल-ज़ादा
पैग़म्बरे-इस्लाम की संतान, तात्पर्यः इमाम हसन और इमाम हुसैन (अलैहिस्सलाम)
रसौल्या-बच्चा
(दाईगीरी) वह बच्चा जिसके पेशाब करने के अंग पर जन्मजात खाल का घूँघट (पर्दा) न हो
रसूल-ए-ख़ुदा
ईश्वर का सन्देश देने वाला, पैग़म्बर मुहम्मद
रसूलुस्सलाम
शांति एवं सुरक्षा का संदेश लाने वाला
रसूली
रसूल संबंधी, रसूल के मुताल्लिक़
रसूल-ए-बर-हक़
सच्चा पैग़ंबर, अल्लाह ताला का भेजा हुआ
रसौली
एक प्रकार का रोग जिसमें आँख के ऊपर भौंहों के पास अथवा शरीर के और किसी अंग में बड़ी गिलटी निकल आती है
रसूल-उस-सक़लैन
मनुष्य और जिन दोनों का पथप्रदर्शक, पैग़ंबर, अर्थात: पैग़म्बर मोहम्मद
रसूली-दाढ़ी
रसूल शाही फ़क़ीरों के तरह की दाढ़ी जिसमें सिर्फ़ ठोढ़ी के नीचे बाल होते हैं
ना'त-रसूल
प्रशंसा, स्तुति, हज़रत मुहम्मद साहब की छंदोबद्ध स्तुति
या रसूलल्लाह
ए अल्लाह के रसूल (बतौर निदा या ए सतमदाद)
मोहम्मद रसूलुल्लाह
पैग़ंबर हज़रत मोहम्मद मुस्तफ़ा सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम जो अल्लाह के रसूल अर्थात पैग़ंबर हैं (सारे मुसलमान पैग़ंबर हज़रत मोहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम को ख़ुदा का भेजा हुआ आख़िरी नबी अर्थात अंतिम पैग़ंबर मानते हैं)
बहर-ए-ख़ुदा और रसूल
ईश्वर और दूत के लिए, बिना किसी निजी स्वार्थ के
या रसूल
ए अल्लाह के रसूल (बतौर निदा या ए सतमदाद)
नाइब-रसूल
रसूल (देवदूत) का उत्तराधिकारी, नबी का उत्तराधिकारी, ख़लीफ़ा, इमाम
ला इलाहा इल्लल्लाह मोहम्मद रसूलुल्लाह
न ख़ुदा ख़ूश , न रसूल ख़ूश
जब कोई फ़ायदा ना हो तो कहते हैं
मोहब्बत-ए-रसूल
पैग़म्बर मोहम्मद से प्यार करना
नियाज़-ए-रसूल
पैग़ाबर मोहम्मद के नाम पर दी गई भिक्षा, ख़ैरात
नामूस-ए-रसूल
पैग़ंबर हज़रत मोहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम की महिमा, सम्मान और पद-प्रतिष्ठा
आल-ए-रसूल
पैग़ंबर मोहम्मद की संतानें
मद्दाह-ए-रसूल
रसूल की प्रशंसा और स्तुति करनेवाला, ना'त लिखनेवाला, ना'त गो शाइर,
सुन्नत-ए-रसूल
पैगंबर मुहम्मद का तरीका और जीने का ढंग
बिंत-ए-रसूल
(शाब्दिक) पैग़म्बर मुहम्मद की बेटी (अर्थात) बीबी फ़ातिमा ज़हरा
मिदहत-ए-रसूल
पैग़ंबर मोहम्मद की तारीफ़ और खूबियाँ
न ख़ुदा का ख़ौफ़ और न रसूल की शर्म
इंतिहाई ढीट, बदकार-ओ-बेहिस हो जाने वाले के मुताल्लिक़ कहते हैं
न ख़ुदा का ख़ौफ़ और न रसूल से शर्म
इंतिहाई ढीट, बदकार-ओ-बेहिस हो जाने वाले के मुताल्लिक़ कहते हैं