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साई

कार्य आदि के सम्पादन के लिए बातचीत पक्की होने पर दिया जानेवाला पेशगी धन। बयाना।

साईं

Allah, The Supreme Being, God, Lord, Guru, religious mendicant

सा'ई

प्रयत्नशील, दौड़-धूप करने वाला, कोशिश करने वाला

साईंस

رک : سائِنس.

साईंसी

رک : سائِنسی.

साईक्लोपीडिया

رک : اِنسائیکلوپیڈیا.

साईकलिस्ट

سائیِکل سواری کا ماہر.

साईसी

साईस का काम, भाव या पद, घोड़े की ख़िदमत का पेशा

साई-बधाई

जोड़ तोड़, झूठे तसल्ली दिलासे

साईदगी

abrasion

साईं जिए

(दुआइया कलिमा) सुहाग सलामत रहे

साईं-काट

ख़राब, बेकार

साईदनी

पीसने के लायक़ ।।

साईकल-रेस

سائِکلوں کی دوڑ ، سائِکلوں پر دوڑ کا مُقابلہ.

साईफ़न

رک : سائِفن.

साई देना

pay earnest money

साईं-साहिब

औरत पति को कहती है

साईं-साईं

गोलीयों या तीर के चलने की आवाज़

साईड-हिरोइन

سائڈ ہیرو (رک) کی تانیث.

साईं जिस को राख ले मारन मारा कौन, भूत देव क्या आग हो क्या पानी क्या पौन

जिस को ईश्वर रखे उसे कौन चखे

साईं फिर माँगो

रुक : सावें बरकत है

साईं के भण्डार में कमी नहीं

ईश्वर या अल्लाह के ख़ज़ाने में कोई कमी नहीं

साईं अखियाँ फेरियाँ बैरी मुल्क जहान, टुक इक झाँकी महर दी लक्खाँ करें सलाम

ईश्वर नाराज़ हो तो सारा संसार नाराज़ हो जाता है और यदि मेहरबानी की एक नज़र कर ले तो लाखों सलाम करते हैं

साईं को साँच प्यारा, झूटे का मालिक न्यारा

ख़ुदा सचै आदमी को पसंद करता है झूओटे का मालिक कोई और है

साईं इस संसार में भाँत भाँत के लोग, सब से मिल कर बैठिये नदी नाव संजोग

दुनिया में तरह तरह के लोग हैं मिल कर जीवन व्यतीत करना चाहिए

साईं अपने चित्त की भूल न कहिये कोय, तब लग मन में राखिये जब लग कारज होय

अपने दिल का भेद भूल कर भी किसी को नहीं बताना चाहिये जब तक काम न हो जाए उसे दिल में रखना चाहिये

साईं तेरी याद में जस तन कीता ख़ाक, सोना उस के रू-बरू है चूल्हे की ख़ाक

जो ईश्वर में लीन हो गया हो उस की नज़र में संसार का धन और दौलत धूल के समान है

साईं से सांची रहूँ बाज बाज रे ढोल, पंचन में मेरी पत रहे सखियाँ में रहे बोल

स्त्री को चाहिए कि पति की नज़रों में सच्ची रहे क्यूँकि इसी तरह लोगों में उस का सम्मान और सहेलियों में उस का महत्व होता है

साईं तेरे कारने जन तज दिया जहान, ठेठ किया बैकुंठ में उस ने जहाँ मकान

जिस ने ईश्वर के लिए सब कुछ छोड़ दिया उस की छूट हो गई और स्वर्ग उस का ठिकाना है

साईं राज बुलंद राज, पूत राज दूत राज

स्त्री पति के समय में हुकूमत करती है और बेटे के समय में आश्रित एवं धनहीन हो जाती है

साईं का घर दूर है जैसे लम्बी खजूर, चढ़े तो चाखे प्रेम रस गिरे तो चकना-चूर

ईश्वर को पाना बहुत कठिन है यदि पा ले तो इससे बढ़ कर कुछ नहीं न पाए तो तबाह हो जाए

साईं के खेल हैं

कुदरत के करिश्मे हैं

साईं तेरी नेह का जिस तन लागा तीर, वही पूरा साध है वही पीर फ़क़ीर

जिसे ईश्वर से प्रेम है वो पूरा फ़क़ीर है एवं वही दर्वेश है

साईं तुझ बिन कौन है जो करे नय्या पार, तू ही आवत है नज़र चहूँ ओर करतार

ऐ ईश्वर तेरे सिवा कौन है जो बेड़ा पार करे, जिधर देखता हूँ तू ही दिखाई देता है

साईं राज बुलंद राज

पति का युग अथवा समय ऊँचाई एवं ख़ुशहाली का युग होता है

साईं के पाले में भल-भल होना

किसी को लाभ पहुँचाना

साईं जिस के साथ हो उस को सांसा क्या, छिन में उस के कार सब दे भगवान बना

ईश्वर जिसका सहायक हो उसके काम पल में बन जाते हैं

साईं का रख आसरा और वाही का ले नाम, दो जग में भरपूर हों जो तेरे सगरे काम

ईश्वर पर भरोसा रख और उसी का नाम ले तो दोनों लोकों में तेरे काम पूरे होंगे

साईं साईं जीभ पर और किब्र कपट मन बीच, वह न डाले जाएँगे पकड़ नरक में खींच

जिन की जीभ पर ईश्वर का नाम है और उन के दिल में घमंड और धोका कपट और हसद है उन को अंत में नरक ही मिलेगा

साईं बरकत है

भिखारी को दान न देने के मौक़े पर कहते हैं

साईं रूठे हम छूटे

ईश्वर नाराज़ तो जग नाराज़

साईं नाता दम ही ताएँ

मर्द से या शौहर से सांस तक रिश्ता है

साईं तेरे आसरे आन पड़े जो लोग, उन के पूरे भाग हैं उन के पूरे जोग

जो ईश्वर पर विश्वास करता है ईश्वर उस का हर काम पूरा करता है

साईं से सच्चा और बंदे से सत भाव

इंसान को हर हाल में पाकबाज़ रहना चाहीए

साईं के सो खेल

ईश्वर सर्वज्ञ है वह जो चाहे सो करे

साईं सांसा मेट दे और न मेटे कोय, वा को सांसा क्या रहा जा सर साईं होय

ईश्वर के अतिरिक्त कोई सांसा अर्थात परेशानी एवं दुख को दूर नहीं कर सकता परंतु जिसे ईश्वर पुण्य की राह दिखा दे

साईसी-'इल्म दरिया है

किसी भी विद्या में महारत प्राप्त करना आसान नहीं है, हर एक विद्या एवं ज्ञान असाधारण गहराई एवं विस्तार रखता है जबकि साईसी विद्या को प्रायः बहुत साधारण और निम्न समझा जाता है, उसपर भी पूर्ण महारत रखना बहुत कठिन है

साईकल-सवार-दस्ता

سائِیکل سواروں کا گروہ.

साईदा

पिसा हुआ, चूर्णित।

साईं तेरा आसरा छोड़े जो अंजान, दर-दर बांडे मांगता कौड़ी मिले न दान

जो ईश्वर की आस छोड़ दे वो दर-दर मांगता फिरे तो भी उसे कुछ नहीं मिलता

साईं तेरे कारने छोड़ा बल्ख़ बुख़ार, नौ लख घोड़े पाल्की और नौ लखा सवार

ईश्वर के लिए सब कुछ त्याग दिया

साईं के दरबार में बड़े बड़े हैं ढेर, अपना दाना बीन ले जिस में हेर न फेर

अपनी क़िस्मत पर शुक्र करना चाहिए और जो मिले उस पर संतोष करना चाहिए

साई बजाना

(बाज़ारी) तवाइफ़ का साई लेने के बाद मुक़र्ररा वक़्त पर गाने बजाने के लिए पहुंच

कहीं साई

इस के क़ौल-ओ-क़रार पर कोई भरोसा नहीं किया जा सकता है, बहुत ही बे आतबारा है, एक बात पर क़ायम रहने वाला नहीं, किसी को साई किसी को बधाई

दो-साई

(کاشت کاری) بھت مئی ، گنّے کی پیرائی یعنی بونے کا طریقۂ کار .

सा'ईर

کوہِ مسیح .

जबीं-साई

माथा रगड़ना, बहुत ही झुककर सलाम करना, दीनता और नम्रता का प्रदर्शन

आसिया-साई

आटा पीसना, चक्की चलाना

भंग-साई

بھن٘گ کی پتیوں کو پیس کر یا گھوٹ کر بھن٘گ تیار کرنے کا عمل .

ग़ालिया-साई

सुगंध लगाना या मलना, इत्र छिड़कना

हिन्दी, इंग्लिश और उर्दू में नासिया-साई के अर्थदेखिए

नासिया-साई

naasiya-saa.iiناصِیَہ سائی

स्रोत: अरबी

वज़्न : 21222

नासिया-साई के हिंदी अर्थ

संज्ञा, स्त्रीलिंग

  • जिबह-साई, माथा रगड़ना, सज्दा करना

शे'र

English meaning of naasiya-saa.ii

Noun, Feminine

  • humble, touching forehead in prayer

ناصِیَہ سائی کے اردو معانی

  • Roman
  • Urdu

اسم، مؤنث

  • پیشانی یا ماتھا رگڑنے کا عمل ، سجدہ کرنا ، سجدہ ریزی ، جبیں سائی ؛ (مجازاً) عاجزی ۔

Urdu meaning of naasiya-saa.ii

  • Roman
  • Urdu

  • peshaanii ya maathaa raga.Dne ka amal, sajda karnaa, sajda rezi, jabiinsaa.ii ; (majaazan) aajizii

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साई

कार्य आदि के सम्पादन के लिए बातचीत पक्की होने पर दिया जानेवाला पेशगी धन। बयाना।

साईं

Allah, The Supreme Being, God, Lord, Guru, religious mendicant

सा'ई

प्रयत्नशील, दौड़-धूप करने वाला, कोशिश करने वाला

साईंस

رک : سائِنس.

साईंसी

رک : سائِنسی.

साईक्लोपीडिया

رک : اِنسائیکلوپیڈیا.

साईकलिस्ट

سائیِکل سواری کا ماہر.

साईसी

साईस का काम, भाव या पद, घोड़े की ख़िदमत का पेशा

साई-बधाई

जोड़ तोड़, झूठे तसल्ली दिलासे

साईदगी

abrasion

साईं जिए

(दुआइया कलिमा) सुहाग सलामत रहे

साईं-काट

ख़राब, बेकार

साईदनी

पीसने के लायक़ ।।

साईकल-रेस

سائِکلوں کی دوڑ ، سائِکلوں پر دوڑ کا مُقابلہ.

साईफ़न

رک : سائِفن.

साई देना

pay earnest money

साईं-साहिब

औरत पति को कहती है

साईं-साईं

गोलीयों या तीर के चलने की आवाज़

साईड-हिरोइन

سائڈ ہیرو (رک) کی تانیث.

साईं जिस को राख ले मारन मारा कौन, भूत देव क्या आग हो क्या पानी क्या पौन

जिस को ईश्वर रखे उसे कौन चखे

साईं फिर माँगो

रुक : सावें बरकत है

साईं के भण्डार में कमी नहीं

ईश्वर या अल्लाह के ख़ज़ाने में कोई कमी नहीं

साईं अखियाँ फेरियाँ बैरी मुल्क जहान, टुक इक झाँकी महर दी लक्खाँ करें सलाम

ईश्वर नाराज़ हो तो सारा संसार नाराज़ हो जाता है और यदि मेहरबानी की एक नज़र कर ले तो लाखों सलाम करते हैं

साईं को साँच प्यारा, झूटे का मालिक न्यारा

ख़ुदा सचै आदमी को पसंद करता है झूओटे का मालिक कोई और है

साईं इस संसार में भाँत भाँत के लोग, सब से मिल कर बैठिये नदी नाव संजोग

दुनिया में तरह तरह के लोग हैं मिल कर जीवन व्यतीत करना चाहिए

साईं अपने चित्त की भूल न कहिये कोय, तब लग मन में राखिये जब लग कारज होय

अपने दिल का भेद भूल कर भी किसी को नहीं बताना चाहिये जब तक काम न हो जाए उसे दिल में रखना चाहिये

साईं तेरी याद में जस तन कीता ख़ाक, सोना उस के रू-बरू है चूल्हे की ख़ाक

जो ईश्वर में लीन हो गया हो उस की नज़र में संसार का धन और दौलत धूल के समान है

साईं से सांची रहूँ बाज बाज रे ढोल, पंचन में मेरी पत रहे सखियाँ में रहे बोल

स्त्री को चाहिए कि पति की नज़रों में सच्ची रहे क्यूँकि इसी तरह लोगों में उस का सम्मान और सहेलियों में उस का महत्व होता है

साईं तेरे कारने जन तज दिया जहान, ठेठ किया बैकुंठ में उस ने जहाँ मकान

जिस ने ईश्वर के लिए सब कुछ छोड़ दिया उस की छूट हो गई और स्वर्ग उस का ठिकाना है

साईं राज बुलंद राज, पूत राज दूत राज

स्त्री पति के समय में हुकूमत करती है और बेटे के समय में आश्रित एवं धनहीन हो जाती है

साईं का घर दूर है जैसे लम्बी खजूर, चढ़े तो चाखे प्रेम रस गिरे तो चकना-चूर

ईश्वर को पाना बहुत कठिन है यदि पा ले तो इससे बढ़ कर कुछ नहीं न पाए तो तबाह हो जाए

साईं के खेल हैं

कुदरत के करिश्मे हैं

साईं तेरी नेह का जिस तन लागा तीर, वही पूरा साध है वही पीर फ़क़ीर

जिसे ईश्वर से प्रेम है वो पूरा फ़क़ीर है एवं वही दर्वेश है

साईं तुझ बिन कौन है जो करे नय्या पार, तू ही आवत है नज़र चहूँ ओर करतार

ऐ ईश्वर तेरे सिवा कौन है जो बेड़ा पार करे, जिधर देखता हूँ तू ही दिखाई देता है

साईं राज बुलंद राज

पति का युग अथवा समय ऊँचाई एवं ख़ुशहाली का युग होता है

साईं के पाले में भल-भल होना

किसी को लाभ पहुँचाना

साईं जिस के साथ हो उस को सांसा क्या, छिन में उस के कार सब दे भगवान बना

ईश्वर जिसका सहायक हो उसके काम पल में बन जाते हैं

साईं का रख आसरा और वाही का ले नाम, दो जग में भरपूर हों जो तेरे सगरे काम

ईश्वर पर भरोसा रख और उसी का नाम ले तो दोनों लोकों में तेरे काम पूरे होंगे

साईं साईं जीभ पर और किब्र कपट मन बीच, वह न डाले जाएँगे पकड़ नरक में खींच

जिन की जीभ पर ईश्वर का नाम है और उन के दिल में घमंड और धोका कपट और हसद है उन को अंत में नरक ही मिलेगा

साईं बरकत है

भिखारी को दान न देने के मौक़े पर कहते हैं

साईं रूठे हम छूटे

ईश्वर नाराज़ तो जग नाराज़

साईं नाता दम ही ताएँ

मर्द से या शौहर से सांस तक रिश्ता है

साईं तेरे आसरे आन पड़े जो लोग, उन के पूरे भाग हैं उन के पूरे जोग

जो ईश्वर पर विश्वास करता है ईश्वर उस का हर काम पूरा करता है

साईं से सच्चा और बंदे से सत भाव

इंसान को हर हाल में पाकबाज़ रहना चाहीए

साईं के सो खेल

ईश्वर सर्वज्ञ है वह जो चाहे सो करे

साईं सांसा मेट दे और न मेटे कोय, वा को सांसा क्या रहा जा सर साईं होय

ईश्वर के अतिरिक्त कोई सांसा अर्थात परेशानी एवं दुख को दूर नहीं कर सकता परंतु जिसे ईश्वर पुण्य की राह दिखा दे

साईसी-'इल्म दरिया है

किसी भी विद्या में महारत प्राप्त करना आसान नहीं है, हर एक विद्या एवं ज्ञान असाधारण गहराई एवं विस्तार रखता है जबकि साईसी विद्या को प्रायः बहुत साधारण और निम्न समझा जाता है, उसपर भी पूर्ण महारत रखना बहुत कठिन है

साईकल-सवार-दस्ता

سائِیکل سواروں کا گروہ.

साईदा

पिसा हुआ, चूर्णित।

साईं तेरा आसरा छोड़े जो अंजान, दर-दर बांडे मांगता कौड़ी मिले न दान

जो ईश्वर की आस छोड़ दे वो दर-दर मांगता फिरे तो भी उसे कुछ नहीं मिलता

साईं तेरे कारने छोड़ा बल्ख़ बुख़ार, नौ लख घोड़े पाल्की और नौ लखा सवार

ईश्वर के लिए सब कुछ त्याग दिया

साईं के दरबार में बड़े बड़े हैं ढेर, अपना दाना बीन ले जिस में हेर न फेर

अपनी क़िस्मत पर शुक्र करना चाहिए और जो मिले उस पर संतोष करना चाहिए

साई बजाना

(बाज़ारी) तवाइफ़ का साई लेने के बाद मुक़र्ररा वक़्त पर गाने बजाने के लिए पहुंच

कहीं साई

इस के क़ौल-ओ-क़रार पर कोई भरोसा नहीं किया जा सकता है, बहुत ही बे आतबारा है, एक बात पर क़ायम रहने वाला नहीं, किसी को साई किसी को बधाई

दो-साई

(کاشت کاری) بھت مئی ، گنّے کی پیرائی یعنی بونے کا طریقۂ کار .

सा'ईर

کوہِ مسیح .

जबीं-साई

माथा रगड़ना, बहुत ही झुककर सलाम करना, दीनता और नम्रता का प्रदर्शन

आसिया-साई

आटा पीसना, चक्की चलाना

भंग-साई

بھن٘گ کی پتیوں کو پیس کر یا گھوٹ کر بھن٘گ تیار کرنے کا عمل .

ग़ालिया-साई

सुगंध लगाना या मलना, इत्र छिड़कना

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