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शिकस्ता

झुका हुआ

शिकस्ता-पा

जिस के पांव टूटे हुए हों, चलने से मजबूर,

शिकस्ता-दिली

दिल टूट जाना, उम्मीद नष्ट हो जाना, साहस टूट जाना, दुःखी होना

शिकस्ता-हाल

जिसकी आर्थिक दशा खराब हो गयी हो, विकट परिस्थितियों में, परेशान, तंग, दुखी, तबाह

शिकस्ता-बाल

(परिंदा) जिस के पर-ओ-बाल टूट गए हों

शिकस्ता-आमेज़

(सुलेख) ख़त-ए-शिकसता और नस्तालीक़ से अविष्कार किया गया एक नई लिपी, सुंदर लिपी

शिकस्ता-वा'दा

शिकस्ता-पाई

चलने से माज़ूरी, बेबसी, पाँव टूट जाना, अपाहिज हो जाना, लाचार हो जाना

शिकस्ता-बाज़ू

जिसकी बाँह टूट गयी हो, भग्नबाहु, जिसका बराबर का साथी न रहा हो, प्रतीकात्मक: असहाय, बेसहारा, निर्बल, शक्तिहीन

शिकस्ता-क़ीमत

जिसके दाम गिर गये हों।

शिकस्ता-नवीस

ख़त-ए-शिकसता लिखने वाला, घसीट लिखने वाला

शिकस्ता-ज़बाँ

हकला, तोतला, जो अटक-अटककर बोले, जो शुद्ध भाषा न बोले।

शिकस्ता-नवीसी

घसीट लिखना, अस्पष्ट लिखावट ।

शिकस्ता-बाली

शिकस्ता-हाली

आर्थिक दशा का खराब हो जाना, ग़रीबी, मुहताजी, परेशानी

शिकस्ता-हिम्मत

जिसकी हिम्मत टूट गयी हो, हतोत्साह, भग्नसाहस ।।

शिकस्ता-ग़ुरूर

जिसका घमंड मिट गया हो, गलितगर्व, भग्नदर्प।।

शिकस्ता-अहद

जिसकी प्रतिज्ञा भंग हो गयी हो, भग्नव्रत, भग्नप्रतिज्ञ

शिकस्ता-ख़ातिर

जिसका दिल टूट गया हो, भग्नहृदय, रंजीदा, मायूस

शिकस्ता-नाख़ुन

जिसके नाख़ुन टूट गये हों, अर्थात: उपायहीन, लाचार, बेबस

शिकस्ता-दिल

टूटा हुआ दिल, हताश, नाउम्मीद, भग्नहृदय, दुःखी, नष्टोत्साह, भग्न- साहस, पस्तहिम्मत

शिकस्ता-ज़ोर

जिसकी शक्ति टूट गयी हो अर्थात् घट गयी हो, नष्टशक्ति, हतशक्ति।

शिकस्ता-पर

जिसके पर टूट गये हों, निराश्रय, असहाय, भग्नपक्ष

शिकस्ता-बंद

(शल्यशास्त्र) टूटी हुई हड्डी जोड़ने वाला

शिकस्ता-रंग

जिसका रंग मंद पड़ गया हो, मंदवर्ण

शिकस्ता-ए-उम्मीद

जिसकी उम्मीद टूट गयी हो, हताश, भग्नाश।।

शिकस्ता-रक़म

शिकस्तगी

टूट-फूट, शिथिलता

शिकस्ता-परों

टूटे पंख, भावनात्मक रूप से क्षतिग्रस्त

शिकस्ता-कमर

जिसकी कमर टूट गयी हो।

शिकस्ता-मेकअप

शिकस्तगी-ए-शख़्सिय्यत

शिकस्तन

टूटना, बिखरना

शिकस्त आना

शिकस्त-ए-ख़्वाब

नींद उचट जाना, सोते हुए जाग जाना।

शिकस्त-ए-क़ीमत

दाम गिर जाना, मोल कम हो जाना, क़ीमत का गिरना, क़ीमत घटना

शिकस्त-ए-नारवा

रिवाज के विरुद्ध काम, शायरी का एक ऐब जिसकी व्याख्या इन शब्दों में बयान की गई है, कि फ़ारसी और उर्दू की शायरी में जो बहरें प्रचलित हैं उनमें से कुछ की विशेषता यह है कि पढ़ने में मिस्रा के दो टुकड़े हो जाया करते हैं, ऐसे तमाम शेर में अगर मिसरों के टुकड़े अलग-अलग न हों बल्कि ऐसा हो कि किसी शब्द या जुम्ले का एक भाग एक टुकड़े में और दूसरा भाग दूसरे टुकड़े में अनिवार्य रूप से आता हो तो ये बात यक़ीनन ऐबदार समझी जाएगी और शाएर की कमज़ोरी पर दलालत करेगी

शिकस्त-ए-दिल

दिल का टूट जाना

शिकस्त-ए-रंग

रंग उड़ जाना, फीका पड़ जाना

शिकस्त-ए-'अहद

प्रतिज्ञा का टूट जाना

शिकस्त-ए-फ़ाश

खुली हुई हार, ऐसी हार जिसमें संदेह न हो, बहुत बुरी और अपमान-जनक हार

शिकस्त-ए-शीशा

वह आवाज़ जो शीशा टूटने से पैदा होती है

शिकस्त-ए-कामिल

शिकस्त-ए-फ़ाहिश

अपमान-जनक हार, बहुत बुरी हार, भारी शिकस्त

शिकस्त-ए-तौबा

शपथ तोड़ना

शिकस्त-ए-सख़्त

दे. 'शिकस्ते | फ़ाहिश' ।।

शुहदा-शिकस्ता

बाज़ू-शिकस्ता

जिसकी भुजाएँ टूट गयी हों, भग्नबाहु, बेबस, लाचार, दुःखी

ज़ानू-शिकस्ता

दोनों पैरों पर बैठना (बैठने का एक अंदाज़)

पा-शिकस्ता

शाब्दिक: जिस का पांव टूट गया हो, जो चलने-फिरने में असमर्थ हो, प्रतीकात्मक: बेबस, लाचार, असहाय, विवश

बाल-शिकस्ता

नीम-शिकस्ता

कुछ टूटा हुआ, आधा टूटा हुआ, प्रतीकात्मक: जर्जर, पुराना

दिल-शिकस्ता

जिसका दिल टूट गया हो, दुःखित, हतोत्साह, पस्त हौसला, मायूस

आ'साब-ए-शिकस्ता

दुखती रगें

रंग शिकस्ता होना

रंगत फीकी पड़ जाना और उड़ जाना

ख़त्त-ए-शिकस्ता

वह लिखावट जो बहुत टेढ़ी-मेढ़ी लिखी जाए और जिसका अन्वेषण मुर्तज़ा क़ुली ख़ाँ शामलू ने तालीक़ और नस्तालीक़ लिपि को मिला कर किया था जो नस्तालीक़ के उलट घसीट कर लिखी जाती है

हाल-ए-शिकस्ता

तबाह और बर्बाद, जो अत्यंत दुखी हो

माह-ए-शिकस्ता

नया चाँद, नवचंद्र।

पर-शिकस्ता

वो परिंद जिस के पर टूटे हुए हूँ

कमर-शिकस्ता

जिसकी कमर टूट गई हो, जिस की कमर टूटी हुई हो, कमर ख़मीदा

हिन्दी, इंग्लिश और उर्दू में दा'वा के अर्थदेखिए

दा'वा

daa'vaaدَعْویٰ

अथवा : दा'वा, दा'वा

स्रोत: अरबी

वज़्न : 22

दा'वा के हिंदी अर्थ

संज्ञा, पुल्लिंग, स्त्रीलिंग

  • वह मुद्दआ या मफ़हूम जिसके हक़ होने पर क़ाइल ज़ोर दे, या मुसिर हो, यक़ीन, सदाक़त अर्थात सच के साथ पुर-ज़ोर अर्थात शानदार और प्रभावी शब्दों में कही हुई बात, कोई ऐसी बात कहने का काम जिसकी दलील दी जाए या जिसे दलील की ज़रूरत हो

    विशेष मुद्द'आ= वह चीज़ जिस पर दावा हो, संपत्ति क़ाइल= अपनी ग़लती मानने वाला, आश्वस्त मफ़्हूम= अर्थ, तात्पर्य, आशय, जो समझ में आए मुसिर= ज़िद करने वाला, बार-बार किसी काम के लिए कहने वाला, किसी बात या काम पर अड़ने वाला

  • वह बात जो चाही जाए, दरख़ास्त, इच्छा, अनुरोध
  • तलबगारी अर्थात तलब करना
  • इस्तिग़ासा, नालिश (जो अदालत के सामने प्रस्तुत की जाए)

    विशेष इस्तिग़ासा= फ़रियाद, न्याय के निमित्त किया गया निवेदन, अभियोग, मदद की पुकार (एक मंत्र जो कठिन या बुरे समय में पढ़ा जाता है)

  • किसी व्यक्ति के तसर्रुफ़ पुर-ज़ोर होने का इस्तेहक़ाक़, हक़

    विशेष तसर्रुफ़= किसी कार्य में हाथ डालना, अधिकार, हस्तक्षेप, इख़्तियार, व्यय, ख़र्च इस्तेहक़ाक़= अपना हक़ माँगना, वैध अधिकार चाहना, हक़ साबित करना, हक़, स्वत्व

  • किसी बात का अभिमान, ग़ुरूर
  • मुक़ाबला, दूसरे के समान या योग्य होने का इद्दि'आ

    विशेष दावा करना, इच्छा करना, मुक़द्दमा दायर करना, शिकायत करना

  • (गणित, तर्कशास्त्र) वह कुल्लिया अर्थात सिद्धांत या मुसल्लमा और मफ़रूज़ा जिसके लिए सुग़रा-कुबरा अर्थात युक्तिवाक्य के द्वारा दलील क़ायम की जाए

    विशेष मुसल्लमा= जो बात सब को तस्लीम हो, सर्वमान्य, जो साबित हो, प्रमाणित, अखण्ड, संपूर्ण मफ़रूज़ा= काल्पनिक बात, फ़र्ज़ की हुई बात, भ्रम

  • (दर्शन शास्त्र) बुद्धिमत्ता एवं दलील का प्रमाण
  • बदला

समान ध्वनि के मिलते-जुलते शब्द

दावा (داوا)

husband of one's wet nurse

दावा (داوَہ)

डाक की चौकी, धावा

शे'र

English meaning of daa'vaa

Noun, Masculine, Feminine

Roman

دَعْویٰ کے اردو معانی

اسم، مذکر، مؤنث

  • وہ مدعا یا مفہوم جس کے حق ہونے پر قائل زور دے، یا مصر ہو، یقین، صداقات کے ساتھ پر زور لفظوں میں کہی ہوئی بات، کوئی ایسی بات کہنے کا عمل جس کی دلیل دی جائے یا جسے دلیل کی ضرورت ہو
  • وہ بات جو چاہی جائے، درخواست، خواہش، مطالبہ
  • طلبگاری
  • استغاثہ، نالش (جو عدالت کے سامنے پیش کی جائے)
  • کسی شخص کےتصرَف پر زور ہونے کا استحقاق، حق
  • کسی بات کا زعم، غرور
  • مقابلہ، دوسرے کے مساوی یا اہل ہونے کا ادعا
  • (ریاضی، منطق) وہ کلیہ یا مسلمہ و مفروضہ جس کے لیے صغریٰ کبریٰ کے ذریعے دلیل قائم کی جائے
  • (فلسفہ) ثبوت عقل و دلیل
  • بدلہ

Urdu meaning of daa'vaa

  • vo mudda ya mafhuum jis ke haq hone par qaa.il zor de, ya misr ho, yaqiin, sadaaqaat ke saath par zor lafzo.n me.n kahii hu.ii baat, ko.ii a.isii baat kahne ka amal jis kii daliil dii jaaye ya jise daliil kii zaruurat ho
  • vo baat jo chaahii jaaye, darKhaast, Khaahish, mutaaliba
  • talabgaarii
  • istiGaasa, naalish (jo adaalat ke saamne pesh kii jaaye
  • kisii shaKhs ke tasarruf par zor hone ka istihqaaq, haq
  • kisii baat ka zoam, Garuur
  • muqaabala, duusre ke musaavii ya ahal hone ka iddi.a
  • (riyaazii, mantiq) vo kulliya ya muslima-o-mafruuza jis ke li.e suGraa kubra ke zariiye daliil qaayam kii jaaye
  • (falasfaa) sabuut aqal-o-daliil
  • badla

दा'वा के पर्यायवाची शब्द

खोजे गए शब्द से संबंधित

शिकस्ता

झुका हुआ

शिकस्ता-पा

जिस के पांव टूटे हुए हों, चलने से मजबूर,

शिकस्ता-दिली

दिल टूट जाना, उम्मीद नष्ट हो जाना, साहस टूट जाना, दुःखी होना

शिकस्ता-हाल

जिसकी आर्थिक दशा खराब हो गयी हो, विकट परिस्थितियों में, परेशान, तंग, दुखी, तबाह

शिकस्ता-बाल

(परिंदा) जिस के पर-ओ-बाल टूट गए हों

शिकस्ता-आमेज़

(सुलेख) ख़त-ए-शिकसता और नस्तालीक़ से अविष्कार किया गया एक नई लिपी, सुंदर लिपी

शिकस्ता-वा'दा

शिकस्ता-पाई

चलने से माज़ूरी, बेबसी, पाँव टूट जाना, अपाहिज हो जाना, लाचार हो जाना

शिकस्ता-बाज़ू

जिसकी बाँह टूट गयी हो, भग्नबाहु, जिसका बराबर का साथी न रहा हो, प्रतीकात्मक: असहाय, बेसहारा, निर्बल, शक्तिहीन

शिकस्ता-क़ीमत

जिसके दाम गिर गये हों।

शिकस्ता-नवीस

ख़त-ए-शिकसता लिखने वाला, घसीट लिखने वाला

शिकस्ता-ज़बाँ

हकला, तोतला, जो अटक-अटककर बोले, जो शुद्ध भाषा न बोले।

शिकस्ता-नवीसी

घसीट लिखना, अस्पष्ट लिखावट ।

शिकस्ता-बाली

शिकस्ता-हाली

आर्थिक दशा का खराब हो जाना, ग़रीबी, मुहताजी, परेशानी

शिकस्ता-हिम्मत

जिसकी हिम्मत टूट गयी हो, हतोत्साह, भग्नसाहस ।।

शिकस्ता-ग़ुरूर

जिसका घमंड मिट गया हो, गलितगर्व, भग्नदर्प।।

शिकस्ता-अहद

जिसकी प्रतिज्ञा भंग हो गयी हो, भग्नव्रत, भग्नप्रतिज्ञ

शिकस्ता-ख़ातिर

जिसका दिल टूट गया हो, भग्नहृदय, रंजीदा, मायूस

शिकस्ता-नाख़ुन

जिसके नाख़ुन टूट गये हों, अर्थात: उपायहीन, लाचार, बेबस

शिकस्ता-दिल

टूटा हुआ दिल, हताश, नाउम्मीद, भग्नहृदय, दुःखी, नष्टोत्साह, भग्न- साहस, पस्तहिम्मत

शिकस्ता-ज़ोर

जिसकी शक्ति टूट गयी हो अर्थात् घट गयी हो, नष्टशक्ति, हतशक्ति।

शिकस्ता-पर

जिसके पर टूट गये हों, निराश्रय, असहाय, भग्नपक्ष

शिकस्ता-बंद

(शल्यशास्त्र) टूटी हुई हड्डी जोड़ने वाला

शिकस्ता-रंग

जिसका रंग मंद पड़ गया हो, मंदवर्ण

शिकस्ता-ए-उम्मीद

जिसकी उम्मीद टूट गयी हो, हताश, भग्नाश।।

शिकस्ता-रक़म

शिकस्तगी

टूट-फूट, शिथिलता

शिकस्ता-परों

टूटे पंख, भावनात्मक रूप से क्षतिग्रस्त

शिकस्ता-कमर

जिसकी कमर टूट गयी हो।

शिकस्ता-मेकअप

शिकस्तगी-ए-शख़्सिय्यत

शिकस्तन

टूटना, बिखरना

शिकस्त आना

शिकस्त-ए-ख़्वाब

नींद उचट जाना, सोते हुए जाग जाना।

शिकस्त-ए-क़ीमत

दाम गिर जाना, मोल कम हो जाना, क़ीमत का गिरना, क़ीमत घटना

शिकस्त-ए-नारवा

रिवाज के विरुद्ध काम, शायरी का एक ऐब जिसकी व्याख्या इन शब्दों में बयान की गई है, कि फ़ारसी और उर्दू की शायरी में जो बहरें प्रचलित हैं उनमें से कुछ की विशेषता यह है कि पढ़ने में मिस्रा के दो टुकड़े हो जाया करते हैं, ऐसे तमाम शेर में अगर मिसरों के टुकड़े अलग-अलग न हों बल्कि ऐसा हो कि किसी शब्द या जुम्ले का एक भाग एक टुकड़े में और दूसरा भाग दूसरे टुकड़े में अनिवार्य रूप से आता हो तो ये बात यक़ीनन ऐबदार समझी जाएगी और शाएर की कमज़ोरी पर दलालत करेगी

शिकस्त-ए-दिल

दिल का टूट जाना

शिकस्त-ए-रंग

रंग उड़ जाना, फीका पड़ जाना

शिकस्त-ए-'अहद

प्रतिज्ञा का टूट जाना

शिकस्त-ए-फ़ाश

खुली हुई हार, ऐसी हार जिसमें संदेह न हो, बहुत बुरी और अपमान-जनक हार

शिकस्त-ए-शीशा

वह आवाज़ जो शीशा टूटने से पैदा होती है

शिकस्त-ए-कामिल

शिकस्त-ए-फ़ाहिश

अपमान-जनक हार, बहुत बुरी हार, भारी शिकस्त

शिकस्त-ए-तौबा

शपथ तोड़ना

शिकस्त-ए-सख़्त

दे. 'शिकस्ते | फ़ाहिश' ।।

शुहदा-शिकस्ता

बाज़ू-शिकस्ता

जिसकी भुजाएँ टूट गयी हों, भग्नबाहु, बेबस, लाचार, दुःखी

ज़ानू-शिकस्ता

दोनों पैरों पर बैठना (बैठने का एक अंदाज़)

पा-शिकस्ता

शाब्दिक: जिस का पांव टूट गया हो, जो चलने-फिरने में असमर्थ हो, प्रतीकात्मक: बेबस, लाचार, असहाय, विवश

बाल-शिकस्ता

नीम-शिकस्ता

कुछ टूटा हुआ, आधा टूटा हुआ, प्रतीकात्मक: जर्जर, पुराना

दिल-शिकस्ता

जिसका दिल टूट गया हो, दुःखित, हतोत्साह, पस्त हौसला, मायूस

आ'साब-ए-शिकस्ता

दुखती रगें

रंग शिकस्ता होना

रंगत फीकी पड़ जाना और उड़ जाना

ख़त्त-ए-शिकस्ता

वह लिखावट जो बहुत टेढ़ी-मेढ़ी लिखी जाए और जिसका अन्वेषण मुर्तज़ा क़ुली ख़ाँ शामलू ने तालीक़ और नस्तालीक़ लिपि को मिला कर किया था जो नस्तालीक़ के उलट घसीट कर लिखी जाती है

हाल-ए-शिकस्ता

तबाह और बर्बाद, जो अत्यंत दुखी हो

माह-ए-शिकस्ता

नया चाँद, नवचंद्र।

पर-शिकस्ता

वो परिंद जिस के पर टूटे हुए हूँ

कमर-शिकस्ता

जिसकी कमर टूट गई हो, जिस की कमर टूटी हुई हो, कमर ख़मीदा

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